भारत के परमाणु रिएक्टर्स की बढ़ेगी क्षमता, रूस ने ऑफर किया नया फ्यूल मॉडल
Capacity of India's nuclear reactors will increase, Russia offers new fuel model
Mhara Hariyana News:
रूस ने भारत के परमाणु ऊर्जा संयंत्रों के न्यूक्लियर फ्यूल साइकिल के लिए नई तकनीकों और समाधानों की पेशकश की है जिसका उद्देश्य कुडनकुलम पावर प्रोजेक्ट में रिएक्टर्स की दक्षता बढ़ाना है. हैदराबाद में एक सम्मेलन में भाग लेने के दौरान रूस के रोसाटॉम निगम के ईंधन प्रभाग टीवीईएल में रिसर्च और डेवलेपमेंट के वाइस प्रेसिडेंट अलेक्जेंडर उग्र्युमोव ने नई तकनीकों का अनावरण किया. रोसाटॉम ने कहा कि ये समाधान कुडनकुलम में मौजूदा VVER-1000 रिएक्टरों और निर्माणाधीन रिएक्टरों की दक्षता बढ़ा सकते हैं.
रूस में डिजाइन किए गए 1000-मेगावाट के दबाव वाले वाटर रिएक्टर्स वर्तमान में कुडनकुलम बिजली परियोजना में चालू हैं और चार और रिएक्टर तमिलनाडु में साइट पर बनाए जा रहे हैं. रूस ने यूक्रेन में जारी संघर्ष के बावजूद परियोजना के लिए महत्वपूर्ण कॉम्पोनेंट्स की आपूर्ति जारी रखी है.
नए फ्यूल से 18 महीने तक ऑपरेट करेंगे रिएक्टर्स
रोसाटॉम ने कहा कि नई टेक्नोलॉजी कुडनकुलम बिजली संयंत्र के संचालन को और अधिक कुशल बनाने की क्षमता प्रदान करती है. इस साल की शुरुआत में TVEL ने कुडनकुलम में पहले से सप्लाई होने वाले UTVS मॉडल की जगह अधिक एडवांस TVS-2M फ्यूल को इंडिया को उपलब्ध कराना शुरू किया. नया ईंधन रिएक्टर्स को 18 महीने तक ऑपरेट करने देता है. वहीं पुराना रिफ्यूलिंग साइकिल 12 महीने के लिए था.
ये पावर प्लांट के प्रदर्शन और आर्थिक दक्षता को बढ़ाता है. रोसाटॉम ने कहा है कि TVS-2M मॉडल ईंधन अधिक विश्वसनीय है. TVEL 15 देशों में 75 बिजली रिएक्टरों को परमाणु ईंधन प्रदान करता है, और रोसाटॉम का ईंधन प्रभाग अधिन संपन्ना यूरेनियम का दुनिया का सबसे बड़ा उत्पादक है.