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मैनेजर बन गयाआईएसआईएस का आतंकी, मुंबई पर हमले की थी प्लानिंग

 
मैनेजर बन गयाआईएसआईएस का आतंकी, मुंबई पर हमले की थी प्लानिंग
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Mhara Hariyana News, Jaipur
जयपुर एनआइए कोर्ट ने राजस्थान में इंडियन ऑयल कॉरपोरेशन (आईओसीएल) के मार्केटिंग मैनेजर रहे शख्स मोहम्मद सिराजुद्दीन को आतंकी संगठन आईएसआईएस (इस्लामिक स्टेट ऑफ इराक एंड सीरिया) के लिए काम करने के आरोप में 7 साल की सजा सुनाई है। कोर्ट ने उसे अनलॉफुल एक्टिविटीज एक्ट 1967 के तहत धारा 13, 38 और धारा 39 के साथ ही आईपीसी 120 बी के तहत दोषी करार देते हुए 7 साल की सजा व 26 हजार रुपए जुर्माना चुकाने के आदेश दिए हैं।

राजस्थान एटीएस ने सिराजुद्दीन को आईएसआईएस के लिए काम करने के आरोप में 10 दिसंबर 2015 को जयपुर से गिरफ्तार किया था। एटीएस के मुताबिक वह जयपुर में रहकर इंटरनेट के जरिए दुनिया भर में नए लड़के-लड़कियों को आईएसआईएस के लिए भर्ती करने का काम कर रहा था।

उसके सीरिया जैसे कई इस्लामिक देशों में 80 कॉन्टैक्ट्स थे और भारत के अलावा वो करीब 13 देशों में इंटरनेट के जरिए अपनी मुहिम चला रहा था। सिराजुद्दीन आईएसआईएस की लीडरशिप के भी कॉन्टेक्ट में था।

सिराजुद्दीन की गिरफ्तारी के बाद इस केस की इन्वेस्टिगेशन एटीएस से एनआईए के पास गई। सवा साल बाद एनआईए ने 4 जुलाई 2016 को इन्वेस्टिगेशन पूरी करते हुए चार्जशीट कोर्ट में पेश कर दी थी। 7 साल बाद 20 फरवरी 2023 को एनआईए कोर्ट ने जजमेंट सुनाया।

भास्कर ने एटीएस और एनआईए की इन्वेस्टिगेशन के साथ ही इस पूरे जजमेंट का एक-एक पेज बारीकी से अध्ययन किया, जिसमें केस से जुड़े कई हैरान कर देने वाले फैक्ट सामने आए।

रेडिकल इस्लामिक लिटरेचर के जरिए आईएस विचारधारा से जुड़ा

कर्नाटक के गुलबर्गा में रहने वाले सिराजुद्दीन की पत्नी का नाम यास्मीन तरन्नुम है और उसके दो बेटे मोहम्मद ताज उजेर और मोहम्मद उम्हर हुसैन हैं। वो रेडिकल इस्लामिक लिटरेचर के जरिए आईएस विचारधारा से जुड़ा। धीरे-धीरे इंटरनेट पर समय गुजारने के साथ ही उसके इंडिया और इंडिया से बाहर भी आईएस के लोगों और टेररिस्ट्स से कॉन्टेक्ट बन गए।

इस तरह एटीएस के शक के घेरे में आया

मोहम्मद नासिर नाम के शख्स को सूडान पुलिस ने सूडान में गिरफ्तार किया था। वो तमिलनाडु का रहने वाला था, इसलिए उसे इंडिया डिपोर्ट कर दिया गया। यहां नासिर से पूछताछ में सामने आया कि वो आईएस के लिए काम कर रहा था।

इस से जुड़ने के लिए वो सीरिया और इराक भी गया था और बाद में सूडान आ गया। 9 दिसंबर 2015 को नासिर को गिरफ्तार कर लिया गया और इसके बाद पूछताछ में नासिर ने बताया कि इंडिया में सिराजुद्दीन नाम का शख्स आईएस के लिए काम कर रहा है और उससे जुड़ा हुआ है।

लड़के-लड़कियों को आईएसआईएस से जोड़ रहा था

इसी इनपुट के बाद अगले ही दिन राजस्थान एटीएस ने सिराजुद्दीन को दबोच लिया। दरअसल, राजस्थान एटीएस के एडिशनल एसपी आशीष प्रभाकर को इंटेलिजेंस से सूचना मिली कि जयपुर स्थित इंडियन आयल कॉर्पोरेशन लिमिटेड में काम कर रहा मोहम्मद सिराजुद्दीन कुछ दिनों से संदिग्ध गतिविधियों में लगा हुआ है। एटीएस ने तुरंत टेक्निकल इन्वेस्टिगेशन शुरू करते हुए इन्फॉर्मेशन को वेरिफाई किया।

इन्वेस्टिगेशन में पता चला कि मोहम्मद सिराजुद्दीन पुत्र मोहम्मद सरवर आतंकी संगठन इस्लामिक स्टेट ऑफ़ इराक एंड सीरिया (आईएसआईएस) का एक्टिव मेंबर बनकर इंटरनेट के जरिए नए लड़कों और लड़कियों को आईएसआईएस से जोड़ने में लगा है।

मोबाइल-लैपटॉप में मिला खतरनाक कंटेंट

ये पता चलते ही राजस्थान एटीएस में हरकत शुरू हो गई। दबिश देकर सिराजुद्दीन को पकड़कर एटीएस ऑफिस लाया गया। यहां मोहम्मद सिराजुद्दीन से पूछताछ की गई और उसके लैपटॉप और मोबाइल का डेटा खंगाला गया। इन्वेस्टिगेशन में सामने आया कि सिराजुद्दीन ने वॉट्सऐप और टेलीग्राम पर कई ग्रुप बना रखे थे, जिनमें वो लगातार आईएसआईएस की विचारधारा का प्रचार कर रहा था।

वो इन ग्रुपों के जरिए दूसरे लोगों को आईएसआईएस से जुड़ने के लिए वीडियो, फोटो और कंटेंट के जरिए मोटिवेट करता था। उसके लैपटॉप में आईएसआईएस की प्रतिबंधित मंथली मैगजीन के भी कई एडिशन डाउनलोड मिले। वहीं लैपटॉप और मोबाइल में उसने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को इस्लाम का सबसे बड़ा दुश्मन बताते हुए कई फोटोज सेव कर रखे थे। उसके पास एक बीस रुपए के नोट पर आईएसआईएस का कश्मीर में स्वागत करते हुए की फोटो भी मिली।

कश्मीर को बताता इस्लामिक स्टेट

एटीएस की इन्वेस्टिगेशन में पता चला कि 27 अगस्त 2015 से सिराजुद्दीन लगातार इस्लामिक देशों में आईएसआईएस से जुड़े लोगों से टेलीफोन और सोशल मीडिया के जरिए कॉन्टेक्ट में था। वो उनसे आईएसआईएस से जुडी पोस्ट्स रिसीव करता और उन्हें भी कई रिपोट्‌र्स रिप्लाई कर रहा था।

उसके द्वारा बनाए गए एक टेलीग्राम चैनल में वो कश्मीर को इस्लामिक स्टेट बताता था। उसके मोबाइल और लैपटॉप में अलकायदा चीफ ओसामा बिन लादेन, मौलाना अनवर आलाकी और मौलाना आसिम उमर के स्पीच और वीडियो भी मिले।

10 दिसंबर 2015 को एटीएस ने इस मामले में मोहम्मद सिराजुद्दीन के खिलाफ अनलॉफुल एक्टिविटीज एक्ट 1967 की धारा 13 व 38 के तहत मामला दर्ज कर उसे गिरफ्तार कर लिया और जांच शुरू कर दी।

सवा साल बाद एटीएस ने एनआईए को सौंप दी इन्वेस्टिगेशन

सिराजुद्दीन की गिरफ्तारी के करीब एक साल और 80 दिन बाद एनआईए (नेशनल इन्वेस्टिगेशन एजेंसी) ने भी इस मामले में FIR दर्ज कर ली। इसके बाद 8 मार्च 2016 को राजस्थान एटीएस से केस एनआईए को ट्रांसफर कर दिया गया। तकरीबन 3 महीने बाद 4 जुलाई 2016 को एनआईए ने इन्वेस्टिगेशन पूरी करते हुए मोहम्मद सिराजुद्दीन के खिलाफ कोर्ट में चार्जशीट पेश कर दी।

सोशल मीडिया पर बना रहा था आईएसआईएस के मेंबर

एनआईए इन्वेस्टिगेशन में पता चला कि सिराजुद्दीन आईएसआईएस का एक एक्टिव मेंबर बनकर काम कर रहा था। उसने पहले कई ईमेल अकाउंट बनाए और फिर उनका इस्तेमाल कर अपने नाम के आधा दर्जन से ज्यादा फेसबुक अकाउंट बनाए। इन फेसबुक अकाउंट्स के जरिए वो आईएसआईएस से जुड़े अबू हमजा सलीम, अबू मरयम, अबू मुजाहिद, अबू, अफलाबान सलाहद्दीन, अफशीन एएस सुबिरह सहित कई लोगों से जुड़ा हुआ था।

सिराजुद्दीन ने ऑनलाइन इन सभी के सामने कई बार आईएसआईएस से जुड़ने और उसके लिए इंडिया में काम करने की इंटेंशन दिखाई थी। इतना ही नहीं वो आईएसआईएस की विचारधारा और इसके प्रोपेगेंडा को फैलाने का काम भी कर रहा था।

सिराजुद्दीन ने टेलीग्राम पर ऑफिशियल बग नाम से एक ग्रुप बना रखा था। जिसकी इन्वाइट लिंक उसने इन्हीं फेसबुक अकाउंट्स की टाइमलाइन पर शेयर कर रखी थी। इसी टेलीग्राम ग्रुप के जरिए वो दूसरे लोगों को आईएसआईएस के दूसरे ग्रुपों में जोड़ने का काम कर रहा था।

आईएसआईएस की महिला आतंकी से शादी करना चाहता था

एनआईए की इन्वेस्टिगेशन में सामने आया कि सिराजुद्दीन कई देशों में आईएसआईएस के लिए काम कर रहे महिला-पुरुष आतंकियों के साथ टच में था। फेसबुक ग्रुप मैसेंजर की चैट में उसने केन्या की रहने वाली आईएसआईएस आतंकी उम्कानिता मीना को शादी के लिए प्रपोज किया था।

जिसके जवाब में आईएसआईएस के लिए काम कर रहे अब्दुल आदिल नाम के एक दूसरे शख्स ने लिखा कि तुम तो पहले से शादीशुदा हो, तुम्हारी पत्नी इसे कैसे स्वीकार करेगी? इस पर सिराजुद्दीन ने लिखा हां सही है, पर एक मुजाहिद्दीन से शादी करना मेरा सपना है और इंशाअल्लाह वहीं मेरे जन्नत जाने का टिकिट बनेगी।

आईएस के सीक्रेट वर्क के लिए लिया नया नंबर

एनआईए के इन्वेस्टिगेशन में पता चला कि सिराजुद्दीन ने अपनी ऑनलाइन आतंकी दोस्त उम्कानिता मीना को फेसबुक मैसेंजर पर 2 दिसंबर 2015 को मैसेज किया- 'तुम जानती हो कि काफिर दिल के बहुत कमजोर होते हैं। +919521551456 ये मेरे कॉलिंग और वॉट़्सऐप के नए नंबर हैं। मैं इन नंबर पर तुमसे दिल लगा कर बात करना चाहता हूं। ये नया नंबर और नया फोन सिर्फ और सिर्फ इस्लामिक स्टेट के लिए है।