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पंचायत चुनाव परिणाम 2023: असदुद्दीन ओवैसी की पार्टी AIMIM ने बंगाल में अपना खाता खोला

 
पंचायत चुनाव परिणाम 2023: असदुद्दीन ओवैसी की पार्टी AIMIM ने बंगाल में अपना खाता खोला 

पंचायत चुनाव परिणाम 2023: AIMIM ने बंगाल में खोला खाता, यह पहला अवसर पर है, जब ओवैसी की पार्टी ने मुर्शिदाबाद में एक बूथ पर जीत हासिल की है.

कोलकाता बंगाल के पंचायत चुनाव 2023 में असदुद्दीन ओवैसी की पार्टी AIMIM को   मुर्शिदाबाद में जीत मिली है. एआईएमआईएम ने लालगोला विधानसभा क्षेत्र के दीवानसराय ग्राम पंचायत के बूथ नंबर 61 पर जीत हासिल की है. राजनीतिक विश्लेषकों का मानना ​​है कि पंचायत क्षेत्र में असदुद्दीन की पार्टी की जीत स्वाभाविक रूप से बंगाल की राजनीति में बहुत महत्वपूर्ण है.


इससे पहलेAIMIM बंगाल में 19वें विधानसभा चुनाव में भी उम्मीदवार थी, लेकिन विधानसभा चुनाव में असुद्दीन को एक भी सीट पर जीत नहीं मिली थी.


एआईएमआईएम बंगाल के चुनाव में किसे फायदा हो रहा है. इस पर तृणमूल और बीजेपी में कीचड़ उछालना शुरू हो गया है. आरोप लगाया गया था असदुद्दीन की टीम ‘बी टीम’ बनकर बंगाल गई थी. इस बार एआईएमआईएम ने पंचायत की बैठक में खाता खोला है.


बंगाल में असदुद्दीन ओवैसी की पार्टी ने खोला खाता :-
इस बीच आज मुर्शिदाबाद के लालगोला में एक बूथ पर जीत के बाद इलाके में एआईएमआईएम समर्थकों के बीच भी उत्साह का नजारा देखा गया. एआईएमआईएम के कार्यकर्ताओं और समर्थकों के बीच एमआईएम का झंडा लहराते और नारे लगाते हुए देखा जा सकता है.

राज्य की सत्तारूढ़ पार्टी ने बंगाल की राजनीति में एआईएमआईएम की भूमिका का बार-बार मजाक उड़ाया है. तृणमूल खेमे ने बार-बार यह समझाने की कोशिश की है कि कैसे असदुद्दीन वैसी की पार्टी ‘वोट कटवा’ के रूप में काम कर रही है.

टीएमसी ने बताया था बीजेपी की ‘बी’ टीम
असदुद्दीन की पार्टी को कई बार इसे ‘बीजेपी की बी टीम’ भी कहा जाता है. हालांकि, बंगाल की राजनीति में विधानसभा चुनाव के बाद एआईएमआईएम ने पंचायत चुनाव में भी उम्मीदवार उतारा था.

और पंचायत जैसे चुनाव, जहां मतदान स्थानीय मुद्दों, स्थानीय मांगों पर निर्भर करता है, एआईएमआईएम ने खाता खोला है. राज्य की राजनीति के पर्यवेक्षक इस बात पर नजर रख रहे हैं कि पंचायत विधानसभा में एमआईएम की जीत का आने वाले दिनों में बंगाल की राजनीति पर क्या असर पड़ेगा.

 बंगाल में मुस्लिमों की आबादी लगभग 30 फीसदी है और मुर्शिदाबाद मुस्लिम बहुल इलाका है. ऐसे में ओवैसी की पार्टी की एक बूथ पर जीत भी काफी मायने रखती है.