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मंडी में सत्संग रविवार को, तैयारियों का लिया जायजा

 
Satsang in Mandi on Sunday

Mhara Hariyana News, Sirsa
सिरसा। सिरसा मंडी में आढ़ती एसोसिएशन व डेरा बाबा भूमणशाह सेवा समिति की ओर से रविवार को भक्ति सत्संग व भंडारे का आयोजन किया जाएगा। डेरा बाबा भूमणशाह संगरसाधा के गद्दीनशीन संत बाबा ब्रह्मदास महाराज प्रवचन करेंगे और श्रद्धालुओं को अपना आशीर्वाद देंगे।


सत्संग व भंडारे की तैयारियां मंडी के शैड के नीचे चल रही हैं। आज सुबह भूमणशाह सेवा समिति व आढ़ती एसोसिएशन के पदाधिकारियों ने सत्संग स्थल व मंच का निरीक्षण किया। सेवा समिति के सदस्य कश्मीर चंद कंबोज व विनोद कुमार एडवोकेट ने बताया  कि 10 सितंबर रविवार को सिरसा मंडी में सत्संग व भंडारा होगा। बाबा ब्रह्मदास महाराज लगभग 10 बजे दुकान नंबर 35 के सामने बनाए गए स्वागत कक्ष में पहुंच जाएंगे जहां स्वागत कमेटी की ओर से बाबा ब्रह्मदास महाराज का ढोल नगाड़ों व फूलों के साथ स्वागत किया जाएगा। वहां से महाराज पैदल ही सत्संग स्थल की ओर रवाना होंगे। उन्होंने बताया कि बाबाजी दुकान नंबर 127 के सामने बनाए गए गेट से प्रवेश करेंगे। सत्संग में आने वाले श्रद्धालुओं को किसी भी प्रकार की कोई परेशानी या दिक्कत न आए, इसके लिए पुख्ता इंतजाम किए गए हैं। पंडाल में श्रद्धालुओं के बैठने के लिए मैट बिछाई गई हैं। साथ ही कुर्सियां भी लगाई गई हैं ताकि जो श्रद्धालु मैट पर नहीं बैठ सकते, वे कुर्सियों पर बैठ सके। गर्मी को देखते हुए पंडाल के अंदर पंखें, कूलर लगाए गए हैं। सत्संग में आने वाले श्रद्धालुओं के वाहनों को पार्क करने के लिए मंडी के चारो तरफ पार्किंग बनाई गई है जहां सेवादारों की ड्यूटी लगाई गई है जो पार्किंग व्यवस्था को संभालेंगे। मंडी के अंदर बने हुए शौचालयों में साफ-सफाई की गई है।

इसके अलावा मंडी की दुकानों में बने हुए शौचालयों को भी उस दिन खुला रखा जाएगा ताकि श्रद्धालुओं को किसी प्रकार की परेशानी न हो। उन्होंने बताया कि लंगर सुबह 10 बजे से ही शुरू हो जाएगा जो दोपहर बाद तक चलता रहेगा। यह पूरा कार्यक्रम भव्य रूप से होगा जिसकी तैयारियां की जा रही हैं। पंडाल के निरीक्षण के दौरान आढ़ती एसोसिएशन के प्रधान मनोहर मेहता, कश्मीर कम्बोज, दीपक नढा, महावीर शर्मा, विनोद कुमार एडवोकेट, सुधीर ललित,अशोक कामरा, मदन नढा, लाभ चन्द, लाल चन्द जईया, रमेश कुमार, चेयरमैन शीशपाल कंबोज, राजेंद्र नड्डा, पवन जोसन सहित अन्य आढ़ती मौजूद थे।